किरातार्जुनीयम् — 12.27
Original
Segmented
स धनुः-महा-इषुधि बिभर्ति कवचम् असितम् उत्तमम् जटाः वल्कम् अजिनम् इति चित्रम् इदम् मुनि-ता-विरोधि न च न अस्य राजते
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
स | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
धनुः | धनुस् | pos=n,comp=y |
महा | महत् | pos=a,comp=y |
इषुधि | इषुधि | pos=n,g=n,c=2,n=s |
बिभर्ति | भृ | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
कवचम् | कवच | pos=n,g=m,c=2,n=s |
असितम् | असित | pos=a,g=m,c=2,n=s |
उत्तमम् | उत्तम | pos=a,g=m,c=2,n=s |
जटाः | जटा | pos=n,g=f,c=2,n=p |
वल्कम् | वल्क | pos=n,g=n,c=2,n=s |
अजिनम् | अजिन | pos=n,g=n,c=2,n=s |
इति | इति | pos=i |
चित्रम् | चित्र | pos=a,g=n,c=1,n=s |
इदम् | इदम् | pos=n,g=n,c=1,n=s |
मुनि | मुनि | pos=n,comp=y |
ता | ता | pos=n,comp=y |
विरोधि | विरोधिन् | pos=a,g=n,c=1,n=s |
न | न | pos=i |
च | च | pos=i |
न | न | pos=i |
अस्य | इदम् | pos=n,g=m,c=6,n=s |
राजते | राज् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |