चौरपञ्चाशिका — 28
Original
Segmented
अद्य अपि ताम् गमनम् इत्य् उदितम् मदीयम् श्रुत्वा एव भीरु-हरिणीम् इव चञ्चल-अक्षीम् वाचः स्खलद्विगलदाश्रुजलाकुलाक्षीम् गुरु-शोक-विनम्र-वक्त्राम्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
अद्य | अद्य | pos=i |
अपि | अपि | pos=i |
ताम् | तद् | pos=n,g=f,c=2,n=s |
गमनम् | गमन | pos=n,g=n,c=1,n=s |
इत्य् | इति | pos=i |
उदितम् | वद् | pos=va,g=n,c=2,n=s,f=part |
मदीयम् | मदीय | pos=a,g=n,c=2,n=s |
श्रुत्वा | श्रु | pos=vi |
एव | एव | pos=i |
भीरु | भीरु | pos=a,comp=y |
हरिणीम् | हरिणी | pos=n,g=f,c=2,n=s |
इव | इव | pos=i |
चञ्चल | चञ्चल | pos=a,comp=y |
अक्षीम् | अक्ष | pos=a,g=f,c=2,n=s |
वाचः | वाच् | pos=n,g=f,c=6,n=s |
स्खलद्विगलदाश्रुजलाकुलाक्षीम् | संचिन्तय् | pos=v,p=1,n=s,l=lat |
गुरु | गुरु | pos=a,comp=y |
शोक | शोक | pos=n,comp=y |
विनम्र | विनम्र | pos=a,comp=y |
वक्त्राम् | वक्त्र | pos=n,g=f,c=2,n=s |