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सिंघी जैन ग्रन्थमाला ]
 
दिशकार
 
मतदत्रज्ञ डेशियामाग्रिम मां
कदमदातिषतिबाधिताकातला का कारण समस
कबितायसायशिवाय प्रतिव
कीया तिनका प्रतियोगिरियाई गतिमान
विज्ञातसावरान वतिगत
दान के सम्मंदर पाकिय माया नयादस्पिदीयमा anatar
 
रामेन
 
सद दरवर्तन
कानाके केवामी कार
नामाव
 
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न्यायिक
 
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श्रीमद
 
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शतामंगलव
बबनराव
 
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माया) पारावर्तित
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गिरायणदादाजादगनम
ऊमारकाला #nag अयवितम्यालिलिपिक
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मिता-यात कमालनं
धनवडा जाण्या
 
दीदा गमावत
 
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(सधच्या
 
मानसम्मान
 
पानी
 
दमडी
 
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नागनाथ
 
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A. B. P. प्रतिके अंतिम पत्र.
 
३३ला-
[ प्रबन्धचिन्तामणि
 
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नवगण तपादालतका
कामत दिनपनि युक्तायावतो तनिविद
यकिन
 
कलापियनजर्जरतांगायल
 
प्रदान नवकमा टिक
दालादाकन तानिलयानज्यनत्पदाल पागमन गा मात्र या तिनदकुमादाद को सिद्धि मामाघ श्रापानापुरतः
काणापल कितःमनिता वनिता महमानधकाशित बीलवतीति
साथमानारसःसमझ ब्रे
॥ दाकमविव
विजयदशा
 
नंतरं
 
यनवादार व त्यास
वविद्यमान कातत्यमां
यायावानिमयन
दायल
 
तिना मायामया
सांख्यिमंत
 
तमनारमसाथ
कारतिया
 
लाव दिनन मिना वसु खान महा निशायिनःश्रया इनिध
विनमय निर्माण
वितायनस्पतित्रातमि बिना
देवतातिशया यमवलित इजिन विदममानिदि
सुनिः सदानितकृत्य निजायांविनातीत लानान् :
नागार्जु नवमिहरममिछा डांतटिन्यासाविन्यत्र
रूपमाबंदाल खालियानांत्रनिनिमियनग मानिध्य मृत वा नायरममह
नयनसतिर्बबुघामानागार्जुन पाना दोघधानाम हादसा
विश्वलानयाका शिवसमाधानवियन्न स्थाश्यना
या माग दाक्ति यानिजांगजाया र नौति निविदित तो
मानवतस्प जिएचया वयात्रामदान न यशिताव्यम्वनिष्टता
मावत जिज्ञासयातदईसलवस्मवती ऊर्बतमासमिनारी रसवतीइषय तिमिड्ि
 
गणानन्यसामान्ये
नसमलेलत
 
एरमादित्तकतिराम अनुग्वशास्त्र रचनानपरिकरः
श्रात्यादिकाया जानानला नाई
मगलइति मगलान्य दाता मलिक क्षमारुदती कर मानने कन्या मुस्कान
राजाद शेतिका लामवनम्यापका
थिचानत्यायोग्या नावामान। १६४४४ावि द्वारा कारयामा मतितः माहिमामपन्या हिमायाः पारा ऋतितमा विमालाबा
नया नशवदना र्यापि ममामुपागता दिरंदवनादतिरविरुप्याचा लक्षिततनत्यनिदादा का
दग्विारिस्थितनयाजिताततः प्रियाकिंदा निवपरानाव नमऊतःकिकय तो कव्यतोहमा चायगिरापरार्ध
गुवाहतोदगन्मामुलायमाश्यालनृपति द। गीतलादालघत्त इति नरिणतर नं नंशवक्षत्र
म्पादित सुतिश्री ऊमाग्पालादजम्प सत्पप्रतिज्ञम्पा पित
स्पलिंगिना गिरा व विरक्तायांविरक्ततां विट
मातःवत्याःमामा पिवरप्रवरः कविधाता को एकातपऊ साताधी रात बाइतिप्रति बोध्यम्
ममी।
पायावाकानमाजमारपाल हिमादि वापसुपास्यमा नाममानमा ईजाव पवन उर्दावा
कलिया व तूमाखनासामा मानव स्वालकमलेऊ नतमसहिंमा स्वस्पिा मार ललिता निम्मताक लिमलि
मंजनपरि मिहाशितन न मिनाम म सहमगम ने जतवता। ॥a॥ ॥३॥ पात्रमा समाववनाम :